■ चंद्रपुर के छत्रीछाप BJP प्रेमी पत्रकारों ने दबा दी न्यूज !
■ न
रासुका लगा, न शराब दुकान पर चला बुलडोजर
■ क्या
मध्यप्रदेश की तरह पैर धोने आयेंगे महाराष्ट्र के CM
@चंद्रपुर
भारत में अमृतकाल का तो पता नहीं, लेकिन पेशाब काल जमकर उधम मचा रहा है। गत 26 नवंबर
को न्यूयॉर्क से दिल्ली आ रही एयर इंडिया की फ्लाइट में महिला के ऊपर पेशाब करने के
मामले में आरोपी शंकर मिश्रा को 6 जनवरी को गिरफ्तार किया गया था। पश्चात मध्य
प्रदेश के सीधी में घटित पेशाब कांड में सरकार ने आरोपी प्रवेश शुक्ला पर IPC,
एट्रोसिटी एक्ट के अलावा रासुका (राष्ट्रीय सुरक्षा कानून) दर्ज कर उसे गिरफ्तार
ही नहीं किया, बल्कि उसके मकान पर बुलडोजर चलाकर गिरा दिया गया था।
बहरहाल चंद्रपुर के दुर्गापुर मेजर गेट समक्ष के सिमराज बार से सटे आशा अरविंद
जैस्वाल के देसी शराब के चिल्लर बिक्री दुकान का मामला पेशाब कांड की तरह ही गरमा
रहा है। लेकिन चंद्रपुर के छत्रीछाप BJP प्रेमी पत्रकारों ने इस न्यूज को दबाने की
पूरजोर कोशिश की। परंतु सामाजिक संगठनों व सोशल मीडिया पर इस शराब दुकान के प्रबंधन
की ओर से भारतरत्न डॉ. बाबासाहब अंबेडकर की अवमानना करने का मामला तूल पकड़ रहा है।
शराब दुकान के पेशाबघर में बाबासाहब के चित्र वाला बैनर लगा दिया गया था, और शराबी
इस पोस्टर पर पेशाब करते रहे। बीते अनेक माह से चल रही इस घिनौनी हरकत को चंद
युवकों ने उजाकर किया। इसके बाद मामला दुर्गापुर थाने पहुंचा तो दुकान के 3
कर्मचारियों को गिरफ्तार किया गया। SDPO सुधीर नंदनवार की अपील पर अंबेडकर अनुयायी
शांतिपूर्ण ढंग से अपना निषेध जता रहे हैं।
कैसे उजागर हुआ पेशाब कांड
?
देसी शराब के चिल्लर बिक्री
दुकान के मालिक व अनुज्ञप्तीधारक आशा अरविंद जैस्वाल की दुकान तुकूम के वसंत नगर
स्थित दुर्गापुर मेजर गेट के सामने हैं। चंद माह पूर्व इस शराब दुकान के प्रबंधन
ने एक बैनर अपने पेशाब घर में लगा दिया। इस बैनर पर डॉ. बाबासाहब अंबेडकर का चित्र
अंकित था। बावजूद किसी ने इस अनुचित मामले को गंभीरता से नहीं लिया। प्रतिदिन यहां
आने वाले शराबी इस पोस्टर पर पेशाब करते रहे। लेकिन रविवार, 16 जुलाई 2023 की शाम अंबेडकर
के अनुयायियों को इसकी भनक लगी और उन्होंने इस शराब दुकान में जाकर इस कुकृत्य का
वीडियो बना डाला।
जैस्वाल की शराब दुकान पर
तीव्र रोष
शराब दुकान के पेशाब घर में लगे बैनर का वीडियो बनाने के बाद अंबेडकर अनुयायियों
ने इसकी सूचना स्थानीय समाजसेवक सुनील दादा पाटील को दी। वे तुरंत वारदात स्थल पर
पहुंच गये। उन्होंने शराब दुकान के प्रबंधन को फटकार लगायी और तत्काल दुर्गापुर
पुलिस को इसकी सूचना दी। पुलिस ने भी मामले की गंभीरता को भांपते हुए वारदात स्थल
पर पहुंच गई और वहां मौजूद प्रबंधन के कर्मचारी अंजया मोरगम, अजीत शेख एवं कोहपरे
नामक आरोपियों को हिरासत में लिया। अंबेडकर अंकित बैनर को भी जब्त किया गया। बताया
जाता है कि अंजया मोरगम इस शराब दुकान को संचालित कर रहा है। दुकान की जमीन उसके
मालकियत की होने की जानकारी है।
दुर्गापुर थाने का
अनुयायियों ने किया घेराव
समाजसेवक सुनील दादा पाटील
की पहल पर पुलिस ने कार्रवाई करते हुए तीनों आरोपियों को दुर्गापुर थाने ले आयी।
यहां पाटील की फरियाद पर शराब प्रबंधन के खिलाफ शुरुआत में भादंवि की धारा 295-A,
34 के तहत आरोपियों के खिलाफ अपराध दर्ज किया गया। इस बीच दुर्गापुर परिसर में इस
पेशाब कांड की खबर आग की तरह फैल गई और हजारों की संख्या में अंबेडकर अनुयायी थाना
परिसर में पहुंच गये। भीम आर्मी के सुरेंद्र रायपूरे भी अपने टीम के साथ थाने
पहुंचे। फरियादी एवं जनता ने आरोपियों के खिलाफ एट्रासिटी का अपराध दर्ज करने की
मांग की।
शांतिपूर्ण माहौल बनाने
में SDPO कामयाब
दुर्गापुर थाने में रविवार की देर रात तक अंबेडकर अनुयायियों का काफिला बढ़ता रहा।
तनावपूर्ण स्थिति निर्माण होने की आशंका के मद्देनजर SDPO सुधीर नंदनवार ने मामले
की गंभीरता को समझते हुए स्वयं क्षुब्ध अनुयायियों को समझाते रहे। आरोपियों पर
कठोर कार्रवाई का भरोसा दिलाया। प्राथमिक जांच के बाद एट्रासिटी भी दज्र करने का
आश्वासन दिया। SDPO नंदनवार की समझदारी एवं शांतिपूर्ण अपील से कानून व सुव्यवस्था
को बरकरार रखने में सहायता मिली। वहीं अंबेडकर अनुयायियों ने भी शांति का रास्ता
अपनाते हुए कानूनी प्रक्रिया में साथ दिया। अंतत: पुलिस ने आरोपियों के खिलाफ एट्रासिटी का भी मामला दर्ज किया।
जैस्वाल की शराब दुकानें
निरस्त करने की मांग
सोमवार को भीम आर्मी के
जिलाध्यक्ष सुरेंद्र रायपूरे व उनकी टीम के अलावा, फरियादी सुनील दादा पाटील एवं
अन्य संगठनों के पदाधिकारियों ने जिलाधिकारी कार्यालय, जिला पुलिस अधीक्षक
कार्यालय एवं आबकारी विभाग कार्यालयों को भेंट देकर विविध मांगों के साथ दोषियों
के खिलाफ कठोर कार्रवाई करने संबंधित ज्ञापन सौंपे। इसमें मुख्यत: शराब दुकान
मालिक आशा अरविंद जैस्वाल के खिलाफ कठोर कार्रवाई करने, उनके देसी शराब दुकान के
अलावा अन्य 2 बियर बार का लाइसेंस भी निरस्त करने, एट्रोसिटी के तहत सभी संबंधित
आरोपियों के विरोध में कड़ी कार्रवाई करने की मांग की। ज्ञापन सौंपने वाले
आंदोलनकारियों ने प्रशासन को 8 दिनों का अल्टीमेटम दिया। आगामी दिनों में उनकी
मांगें पूरी नहीं होने पर उग्र आंदोलन करने की चेतावनी आंदोलनकर्ताओं ने दी।
अधिकांश पत्रकारों ने दबा
दी न्यूज
दिल्ली एवं मध्य प्रदेश के
पेशाब कांड की तरह ही यह मामला संगीन होने के बावजूद चंद्रपुर के अधिकांश
पत्रकारों ने इस वारदात से जुड़ी खबर को तवज्जो नहीं दी। अधिकांश पत्रकारों ने तो
इस खबर को ही दबाने का प्रयास किया। मीडिया में खबर प्रकाशित व प्रसारित नहीं होने
पर अंबेडकर अनुयायियों ने सोशल मीडिया पर अपनी भावनाएं एवं निषेध व्यक्त करने लगे।
हालांकि यह भी सच है कि मध्य प्रदेश के सीधी में घटित वारदात की तरह यहां न तो
आरोपियों के खिलाफ रासुका दर्ज किया गया और न ही शराब दुकान पर बुलडोजर चलाया गया।
और तो और मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री की तरह यहां कोई पैर धोने की पहल भी न कर पाया।
वारदात एवं हालात चाहे जैसे भी हो चंद्रपुर की अंबेडकरी जनता एवं स्थानीय पुलिस की
समझदारी से शहर में शांतिपूर्ण माहौल के बीच कानून व सुव्यवस्था को बरकरार रखते
हुए लोग अपने-अपने स्तर पर न्याय की गुहार लगा रहे हैं।